You are viewing a single comment's thread from:

RE: समाज-सेवा : प्रभु-सेवा (भाग # १) | Community Service : God Service (Part # 1)

in #life7 years ago

आपने सही कहा, परन्तु मैं इसमें थोड़ा ओर सही करना चाहता हूँ कि मानवता की सेवा करने वाले हाथ, परमात्मा की प्रार्थना करने वाले होठों से ज्यादा धन्य होते है. उम्मीद है आपको पसंद आएगा.